लखनऊ । लखनऊ विश्वविद्यालय के कला एवं शिल्प महाविद्यालय में जल्द ही विद्यार्थी परास्नातक में मास्टर्स आफ टेक्सटाइल डिजाइन कोर्स की शुरुआत होगी। अभी तक यह यह कोर्स स्नातक में चलता है। आगामी 14 अक्टूबर को होने वाली एकेडमिक काउंसिल की बैठक में इसके प्रस्ताव पर चर्चा होगी। मंजूरी मिलने के बाद विद्यार्थी इस कोर्स में मास्टर डिग्री भी ले सकेंगे। कला एवं शिल्प महाविद्यालय के प्राचार्या एंड डीन प्रो. रतन कुमार ने बताया कि अभी तक सेल्फ फाइनेंस मोड पर बैचलर आफ फाइन आर्ट (बीएफए) इन टेक्सटाइल चल रहा है। इसमें 10 सीटों पर प्रवेश का प्राविधान है। कुछ समय पहले हुई संकाय परिषद की बैठक में इस कोर्स में मास्टर्स (एमएफए) डिग्री करने के प्रस्ताव को मंजूरी दी गई थी। अब विद्या परिषद में इसे अनुमोदन के लिए भेजा गया है।इसके अलावा महाविद्यालय में क्राफ्ट सेक्शन के अंतर्गत डिप्लोमा कोर्स के रूप में फर्नीचर डिजाइन, मेटल डिजाइन, वुड कार्विंग चलते थे। इसे अपग्रेड करके डिपार्टमेंट आफ क्राफ्ट एंड डिजाइन के रूप में विकसित करने की तैयारी है। इसका प्रस्ताव भी भेजा गया है। यदि मंजूरी मिल गई तो छात्र फर्नीचर सहित कई चीजों की डिजाइन बनाना सीख सकेंगे। एकेडमिक काउंसिल की बैठक में इंजीनियरिंग संकाय के अंतर्गत पार्ट टाइम एमटेक कोर्स भी शुरू करने के प्रस्ताव पर चर्चा होगी। फैकल्टी बोर्ड में इसे मंजूरी मिल चुकी है। सिर्फ एकेडमिक काउंसिल से अनुमोदन होना है। सहमति मिलने के बाद नौकरी करने वाले अभ्यर्थी लखनऊ विश्वविद्यालय से पार्ट टाइम मास्टर आफ टेक्नोलाजी (एमटेक) की पढ़ाई कर सकेंगे। छह सेमेस्टर का यह कोर्स उन्हें पांच साल में पूरा करना होगा। खास बात यह है कि इसकी कक्षाएं शाम को छह से रात नौ बजे तक चलेंगी।